Bihar Land Registry
बिहार में सरकार द्वारा नए नियम को लागू करने के बाद जमीन की खरीद बिक्री एवं रजिस्ट्री में काफी ज्यादा गिरावट देखने को मिली है। ऐसा देखा जा रहा है, कि अब जमीन की रजिस्ट्री के लिए कार्यालय में चुनाव का भी अवसर को प्रदान किया जाएगा। जमीन रजिस्ट्री के लिए वर्तमान समय में गीने चुने ही लोग पहुंच पा रहे हैं। जिससे राजस्व में काफी कमी देखने को मिल रही है।
खबर अनुसार यह जानकारी सामने आई है कि बांका रजिस्ट्री कार्यालय के साथ-साथ अमरपुर रजिस्ट्री कार्यालय में प्रतिदिन लगभग 100 से ज्यादा रजिस्ट्री लोगों द्वारा आते हैं। अब ऐसा स्थिति बन गई है कि वर्तमान समय में जमीन रजिस्ट्री की संख्या आगामी समय में दिन प्रतिदिन घटती चली जा रही है। चलिए जमीन रजिस्ट्री से संबंधित संपूर्ण जानकारी डिटेल्स में इस लेख माध्यम से प्राप्त करते हैं।
जमीन रजिस्ट्री में हुई भारी गिरावट
सूत्र के मुताबिक Bihar Land Registry की खरीद बिक्री में जमाबंदी की अनिवार्यता की नियम को लागू होने के बाद जमीन की रजिस्ट्री में काफी ज्यादा गिरावट देखने को मिल रही है। वित्तीय वर्ष में आंकड़ा को देखी जाए तो 2023 में लगभग 89.56 करोड़ राजस्व वसूली का लक्ष्य रखी गई थी। जिसमें कड़ीबन 22 करोड़ ही काम राजस्व की वसूली हुई है।
राजस्व वसूली में काफी ज्यादा गिरावट देखने को मिली है। जैसा कि हम सभी को पता है, कि नई वित्तीय वर्ष की शुरुआती हो गई लेकिन अभी तक राजस्व वसूली में किसी प्रकार की सुधार देखने को नहीं मिली है।
राजस्व की वसूली 2022-23 में हुई थी इतने
रिपोर्ट के अनुसार यह खबर निकलकर सामने आई है, कि जिला निबंधन पदाधिकारी वैद्यनाथ सिंह जी के द्वारा बताया गया है, कि साल 2023 में बांका रजिस्ट्री कार्यालय में लगभग 58.73 करोड रुपए वसूली करने की योजना बनाई गई थी। जिसमें 44.75 करोड़ ही वसूली की गई है।
इसके अलावा अमरपुर रजिस्ट्री कार्यालय में 29.83 करोड रुपए की वसूली की मांग की गई थी। लेकिन इनमें राजस्व वसूली के तौर पर 22.59 करोड रुपए वसूली किए गए हैं। ऐसा देखा गया है, कि वर्तमान समय में चुनाव को लेकर इसमें कमी देखने को मिल रही है।
Bihar Land Registry के लिए पहले हर रोज पहुंचते थे 100 से अधिक लोग
बांका रजिस्ट्री कार्यालय में करीबन प्रतिदिन 70 से 80 जमीन Bihar Land Registry हुआ करती थी। लेकिन वर्तमान समय के आंकड़ा देखी जाए तो 10 से भी काम रजिस्ट्री देखने को मिल रही है। अमरपुर कार्यालय में औसत के तौर पर 50 जमीन रजिस्ट्री जहां हुआ करती थी। जबकि वर्तमान समय में 10 से नीचे देखने को मिल रही है।
ऐसा देखा गया है कि वर्तमान समय में जमीन रजिस्ट्री को लेकर नए नियम को लागू किया गया है। जिसके कारण कातिब भी बेरोजगार पर रहे हैं। जमीन की रजिस्ट्री में गिरावट होने के कारण उन्हें बहुत सारी परेशानियों का सामना बेरोजगारी से संबंधित देखने को मिल रही है।
जमाबंदी रहने पर ही बेच पाएंगे जमीन
पुराने नियम अनुसार कोई व्यक्ति अपनी पैतृक संपत्ति की जमीन को खरीद बिक्री करना चाहते थे। वह आसानी से कर पा रहे थे। लेकिन नए नियम को लागू होते ही जमीन की खरीद बिक्री में भारी गिरावट देखने को मिल रही है। क्योंकि वर्तमान समय के नए नियम अनुसार जो भी व्यक्ति खुद के जमीन को बेचना चाहते हैं। उन्हें पुश्तैनी द्वारा सफलतापूर्वक उन्हें जमीन प्राप्त होनी चाहिए। तभी वह अपनी जमीन को आसानी से खरीद बिक्री कर सकते हैं। अब वही व्यक्ति अपनी जमीन खरीद बिक्री कर सकते हैं। जिनके नाम से जमाबंदी हो। ऐसे में लगभग सभी लोग जो जमीन की खरीद बिक्री करते हैं, उनके द्वारा जमीन की खरीद बिक्री के लिए पहले जमीन की जमाबंदी करवा रहे हैं।
ध्यान देने वाली बात कार्तिक द्वारा यह जानकारी निकलकर सामने आई है, कि अब ऐसे लोग जमीन रजिस्ट्री के लिए आते हैं। जो नए नियम लागू होने के बाद उन्हें फॉलो करके अपनी पूर्वजों की जमीन को अपने नाम या फिर खरीद बिक्री कर पा रहे हैं।
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