हर साल भारत में बड़ी संख्या में लोग यातायात के नियमों का उल्लंघन करते हैं, जिससे हादसे भी होते हैं। इन हादसों से हजारों लोगों की मौत होती है। 1 July 2024 से देश के एक Expressway पर ITMS का शुरू होने जा रहा है। यह मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक बताया जा रहा है। इसकी विशेषता क्या होगी, आइए जानते हैं।
सड़क हादसों की कमी के लिए काम
दिल्ली के ऑटो डेस्क ने सरकार और प्रशासन की दिशा में सड़क हादसों की कमी के लिए काम किया जा रहा है। साथ ही, यातायात नियमों को उल्लंघन करने वालों पर कठोर कार्रवाई होगी। देश के एक एक्सप्रेसवे पर 1 जुलाई 2024 से इंटेलीजेंट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम (ITMS) लागू किया जाएगा। इसकी खासियतों के बारे में जानकारी यहाँ दी गई है।
एक जुलाई से शुरू होगा ITMS
मैसूर और बेंगलुरू के बीच सफर करते हुए दक्षिण भारत में यातायात नियमों का उल्लंघन करने वालों को अब भारी पड़ेगा। एक जुलाई 2024 से इस एक्सप्रेसवे पर इंटेलीजेंट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम की शुरुआत होगी। राज्य के ट्रैफिक पुलिस के एडीजीपी ने जानकारी दी कि इस सिस्टम को मैसूर शहर और जिले में लागू किया जाएगा।
लॉन्च हो गया था बेंगलुरू में।
बेंगलुरू में 2022 में इस सिस्टम की शुरुआत की गई थी, जिसमें शहर के 50 प्रमुख जंक्शन पर 250 ऑटोमैटिक नंबर प्लेट की पहचान करने वाले कैमरे और 80 आरएलवीडी कैमरे लगाए गए थे। अब यह सिस्टम मैसूर तक फैलाया गया है।
लागत कितनी होती है?
आती तकरीबन 8.5 करोड़ रुपये की खर्च आयी है ताकि ITMS को मैसूर तक लाया जा सके। इसमें मैसूर शहर में सिर्फ चार करोड़ रुपये और जिले में 4.5 करोड़ रुपये का योगदान शामिल है। एक जुलाई से यह सिस्टम शुरू किया जाएगा।
जो नियम तोड़ेंगे उन्हें एलर्ट मिलेगा।
मैसूर में जानकारी के अनुसार ट्रैफिक मैनेजमेंट सेंटर स्थापित किया गया है। इससे यातायात नियम उल्लंघनकर्ताओं को रियल टाइम पर एसएमएस अलर्ट भेजना आरंभ किया जाएगा।
ITMS का क्या मतलब है?
आईटीएमएस एक इंटेलीजेंट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम है, जिसमें हाई डेफिनेशन सीसीटीवी कैमरे के जारीए निगरानी की जाती है। इससे मैनेजमेंट सेंटर में पुलिसकर्मी वाहनों पर नजर रख पाते हैं, जो ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन करते हैं। यह कैमरा रियल टाइम इमेज लेकर रजिस्ट्रेशन नंबर के आधार पर चालान काट देता है, जिसके बाद वाहन मालिक को एसएमएस अलर्ट से सूचित किया जाता है।
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